स्मार्ट क्लास और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) जैसे तकनीकी नवाचारों ने शिक्षा के क्षेत्र में क्रांति ला दी है। इन तकनीकों के उपयोग से शिक्षण और सीखने की प्रक्रिया को अधिक प्रभावी और आकर्षक बनाना संभव हो गया है। हालांकि, कुछ लोगों का मानना है कि इन तकनीकों के कारण क्लासरूम टीचरों की आवश्यकता कम हो जाएगी।


आगामी भविष्य में क्लासरूम टीचर्स के लिए क्या होगा, यह इस बात पर निर्भर करेगा कि एआई और अन्य तकनीकों के विकास की दिशा क्या होगी। यदि ये तकनीकें इतनी उन्नत हो जाती हैं कि वे छात्रों को सभी विषयों और कौशलों को स्वतंत्र रूप से सिखा सकती हैं, तो क्लासरूम टीचर्स की भूमिका कम हो सकती है। हालांकि, यह संभावना कम है।


मेरा मानना है कि भविष्य में क्लासरूम टीचर्स की भूमिका बदल जाएगी, लेकिन वे पूरी तरह से दरकिनार नहीं होंगे। एआई और अन्य तकनीकों का उपयोग छात्रों को व्यक्तिगत निर्देश, सहायता और मार्गदर्शन प्रदान करने के लिए किया जाएगा। इस तरह, टीचर्स को छात्रों को सीखने और विकसित होने में मदद करने के लिए एक महत्वपूर्ण भूमिका निभानी जारी रहेगी।



यहां 10 बिंदु दिए गए हैं जो भविष्य में क्लासरूम टीचर्स के लिए क्या होगा, इसका संकेत देते हैं:


1– टीचर्स को छात्रों को एआई और अन्य तकनीकों का उपयोग करने के लिए प्रशिक्षित करना होगा। यह सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक है कि छात्र इन तकनीकों से लाभान्वित हो सकें।


2–टीचर्स को छात्रों के साथ अधिक व्यक्तिगत रूप से जुड़ने के लिए तकनीकों का उपयोग करना होगा। एआई और अन्य तकनीकों का उपयोग छात्रों के सीखने को अधिक प्रासंगिक और आकर्षक बनाने के लिए किया जा सकता है।


3– टीचर्स को छात्रों को रचनात्मक सोच और समस्या-समाधान कौशल विकसित करने में मदद करना होगा। एआई और अन्य तकनीकों का उपयोग छात्रों को इन कौशलों को विकसित करने के लिए चुनौतीपूर्ण और आकर्षक कार्य प्रदान करने के लिए किया जा सकता है।


4– टीचर्स को छात्रों को सहयोग और टीमवर्क कौशल विकसित करने में मदद करना होगा। एआई और अन्य तकनीकों का उपयोग छात्रों को इन कौशलों को विकसित करने के लिए सहयोगी परियोजनाओं और कार्यों में संलग्न करने के लिए किया जा सकता है।


5– टीचर्स को छात्रों को नैतिकता और जिम्मेदारी के बारे में शिक्षित करना होगा। एआई और अन्य तकनीकों के उपयोग से जुड़े संभावित खतरों के बारे में छात्रों को शिक्षित करना महत्वपूर्ण है।


6– टीचर्स को छात्रों को एआई और अन्य तकनीकों के बारे में जागरूक करना होगा। छात्रों को इन तकनीकों के संभावित लाभों और जोखिमों के बारे में शिक्षित करना महत्वपूर्ण है।


7– टीचर्स को एआई और अन्य तकनीकों की निरंतर प्रगति के साथ अद्यतित रहना होगा। यह सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक है कि वे छात्रों को नवीनतम तकनीकों का उपयोग करने में मदद कर सकें।


8– टीचर्स को एआई और अन्य तकनीकों के उपयोग के लिए अनुकूलनीय होना होगा। यह सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक है कि वे छात्रों को इन तकनीकों से लाभान्वित होने में मदद कर सकें।


9– टीचर्स को एआई और अन्य तकनीकों के उपयोग के लिए उत्साही होना चाहिए। यह सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक है कि वे छात्रों को इन तकनीकों से लाभान्वित होने के लिए प्रेरित कर सकें।


10– टीचर्स को एआई और अन्य तकनीकों के उपयोग के लिए जिम्मेदार होना चाहिए। यह सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक है कि वे छात्रों को इन तकनीकों का उपयोग जिम्मेदारी से करने में मदद कर सकें।


कुल मिलाकर, भविष्य में क्लासरूम टीचर्स की भूमिका बदल जाएगी, लेकिन वे पूरी तरह से दरकिनार नहीं होंगे। एआई और अन्य तकनीकों का उपयोग छात्रों को सीखने और विकसित होने में मदद करने के लिए किया जाएगा, लेकिन टीचर्स की आवश्यकता अभी भी बनी रहेगी।



✍️ लेखक : प्रवीण त्रिवेदी
शिक्षा, शिक्षण और शिक्षकों से जुड़े मुद्दों के लिए समर्पित शिक्षक
फतेहपुर

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